ग्रा.पं.परसाडीह का विकास कार्य अतिक्रमण कर्ताओं की भेंट चढ़ गए

  छत्तीसगढ़ महिमा बलौदाबाजार। 11 मई 2022, 
जिला बलौदाबाजार वर्तमान सारंगढ़ बिलाईगढ़ नवीन जिले में शामिल विकास खंड बिलाईगढ़ के ग्राम पंचायत परसाडीह देश की आजादी स्वतंत्र भारत वर्ष से प्रसिद्ध है। जहां के माटी पुत्र स्व श्री. रेशम लाल जांगड़े स्वतंत्रता सेनानी प्रथम अंतरिम संसद सदस्य पूर्व मंत्री विधायक सांसद रहे जिनके गृह ग्राम पंचायत होते हुए भी आज देश की आजादी की 75 वे वर्ष बाद भी विभिन्न मूलभूत सुविधाओं समस्याओं को लेकर घिरा हुआ अत्यंत पिछड़ा है। इनका मुख्य कारण है कि कुछेक ग्रामीण लोगों द्वारा अपने स्वार्थ सिद्ध करने प्रमुख स्थल शासकीय भूमि पर कब्जा कर निर्माण विकास कार्य को प्रभावित किया जाता रहा हैं। गांव की निस्तारी पशु चरागन गौठान निर्माण और नर्सरी में वृक्षारोपण कार्य 2005 - 09 के बीच पूर्व सरपंच लैनदास मानिकपुरी के कार्यकाल में दोनों स्थानों में 3 - 3 दिवस मनरेगा योजना अंतर्गत कार्य कराएं गए थे।
जिनको बेजा कब्जा कर खेती खलियान बाड़ी मकान निर्माण किए जा रहे हैं। और तो और कुछेक लोगों द्वारा अधिक मात्रा में बेजा कब्जा कर शासकीय भूमि को अन्य लोगों के पास बिक्री कर जीवन यापन करने की साधन बना ली गई हैं। मुख्यमंत्री द्वारा संचालित योजनाओं में से महत्वपूर्ण गौठान निर्माण में नरवा घूर्वा बारी छत्तीसगढ़ की चार चिंहारी शामिल हैं जो अतिक्रमण कर्ताओं की भेंट चढ़ते दिखाई दे रहे हैं। मुख्य मार्ग नाली ग्राम पंचायत व उचित मूल्य की दुकान भवन आस पास, आंगन बाड़ी,मंगल भवन, स्कूल अहाता, गौठान,नर्सरी, छोटे बड़े नया तालाब,पैठू तालाब,बाजार चौंक, सहित विभिन्न चौंक चौराहे,गली,सड़के, नहर नाली की शासकीय भूमि पर अवैध रूप से बेजा कब्जा होने से ग्राम पंचायत परसाडीह की मुख्य स्थलों पर निर्माण विकास कार्य प्रभावित हो रहे हैं। शासन प्रशासन द्वारा संचालित योजनाओं के तहत निर्माण विकास कार्य कराए जाने निरीक्षण कर चले जाने के बाद अतिक्रमण कर्ताओं द्वारा अवैध रूप से निर्माण कार्य कर अवहेलना ही किया जाता रहा हैं। उन्ही के कारण आज देश की आजादी की 75 वर्ष बाद सरकार की 4 वर्ष प्रगतिरत होते हुए भी पिछड़ा हुआ हैं। जिसके जिम्मेदार पूर्व 2 कार्यकाल में सरपंच बन  कार्यभार संभाल प्रतिनिधित्व करते हुए ताना भर्राशाही कार्य करने वाले हैं। इनके अलावा विभिन्न स्थानों पर अतिक्रमण कर्ता गण गांव की जनहित कल्याणकारी निर्माण विकास को प्रभावित कर दुश्मन बन बैठें हैं।
जिनके लिए वर्तमान सरपंच की ग्राम पंचायत नोटिस और क्षेत्रीय विधायक एवं संसदीय सचिव,पंचायत मंत्री, जिला कलेक्टर, जिला सीईओ, जनपद पंचायत सीईओ की आदेश भी कोई काम की नहीं समझे जा रहे हैं। अतिक्रमण कर्ताओं को क्या सूझ रहे हैं कि गांव में शासन प्रशासन के लोग यहां गुजर बसर अपनी निस्तारी करने आएंगे क्या। लगातार विभिन्न स्थानों से प्रकाशित समाचार पत्रों में आए दिन सुर्खियों में आते रहते हुए भी कोई प्रभाव होता नजर नहीं आ रहे हैं। सच्चाई अपना बयां तस्वीर में स्पष्ट कर रहे हैं उन्हे मौंके पर रूबरू होते हुए जमीनी हकीकत से अवगत हो सकते हैं।