राज्य महिला आयोग कार्यालय में महिलाओं से संबंधित शिकायतों के निराकरण के लिए सुनवाई की गई।
छत्तीसगढ़ महिमा रायपुर। 14 दिसम्बर 2021, राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष डॉ.किरणमयी नायक एवं सदस्यगण डॉ.अनिता रावटे, श्रीमती अर्चना उपाध्याय की उपस्थिति में शास्त्री चौक स्थित, राज्य महिला आयोग कार्यालय में महिलाओं से संबंधित शिकायतों के निराकरण के लिए सुनवाई की गई।
एक प्रकरण में आवेदिका ने बताया कि अन्तर्जातीय विवाह के कारण समाज के प्रमुख जो आयोग के समक्ष अनावेदक के रूप में उपस्थित हुए।
समाज के लोगो ने एक हज़ार रुपए भी लिया है, उसके बाद भी आवेदिका के परिवार को समाज प्रमुखों ने बहिष्कृत कर रखा है।
इस प्रकरण में आवेदिका ने परिक्षेत्र समाज के पदाधिकारियों को पक्षकार नही बनाया है।
आयोग द्वारा आवेदिका को सभी का नाम, पता और मोबाइल नंबर की सूची के साथ आवेदन प्रस्तुत करने कहा।आवेदिका ने आयोग के समक्ष एक वीडियो सीडी आयोग के समक्ष प्रस्तुत किया।
इस वीडियो में सामाजिक बैठक के दौरान समाज के अध्यक्ष ने आवेदिका के लिए अपमान जनक शब्दो का प्रयोग किया है। इस पर समाज के अध्यक्ष को समझाइश दिया गया,उन्होंने अपने द्वारा उच्चारित अपमान जनक शब्दो के प्रयोग के लिए आयोग के समक्ष आवेदिका से माफी मांगी। समाज प्रमुखों ने आवेदिका द्वारा दी गई हर्जाना की 42 हज़ार रुपए की राशि को देने सहमत हुए। प्रकरण को आगामी सुनवाई में रखा गया।
भरण पोषण के एक अन्य प्रकरण में आयोग की समझाइश पर पति ने पत्नी को 2,500 रुपये एवं जमीन बिकने पर एकमुश्त भरण पोषण राशि देने सहमत हुआ। प्रकरण को नस्तीबद्ध किया गया।
इसी तरह सम्पत्ति विवाद के एक अन्य प्रकरण में मौके स्थिति की जांच व गवाही स्थल के निरीक्षण के लिए आयोग से अधिवक्ता नियुक्त किया गया है।
अधिवक्ता की रिपोर्ट के आधार पर इस प्रकरण का निराकरण किया जाएगा।
एक अन्य प्रकरण में आयोग की ओर से उभय पक्षो को कहा गया था कि अपनी शर्ते लेकर आयोग में उपस्थित हो,परन्तु उभय पक्ष की शर्तें में किसी भी प्रकार से समझौते नजर नहीं आ रहे हैं।
अनावेदिका ने कहा कि उन्होंने घरेलू हिंसा धारा 125, 09 का प्रकरण न्यायालय में तलाक के लिए लगाया है, प्रकरण न्यायालय में विचाराधीन हो जाने से प्रकरण को नस्तीबद्ध किया गया।
जन सुनवाई में 20 प्रकरण में 16 पक्षकार उपस्थित हुए तथा 4 प्रकरण नस्तीबद्ध किया गया शेष अन्य प्रकरण को आगामी सुनवाई में रखा गया।