शासकीय राजमहंत नयनदास महिलांग महाविद्यालय भटगांव की अव्यववस्था में संसदीय सचिव के निर्देश के बाद नहीं आया सुधार

भटगांव (छत्तीसगढ़ महिमा)। 13 अगस्त 2023, तत्कालीन जिला रायपुर के भटगांव अब विधान सभा क्षेत्र बिलाईगढ़ में शासकीय राजमहंत नयनदास महिलांग महाविद्यालय का स्थापना 12.07.1989 को भटगांव में किया गया हैं। तब से भटगांव में एकमात्र स्थापित शासकीय महाविद्यालय के नाम से जाना जाता हैं। जिसमें पूरे विधान सभा क्षेत्र बिलाईगढ़ के विभिन्न स्थानों से छात्र छात्राओं का उच्च शिक्षा प्राप्त करने की प्रमुख स्थान में गिनती होता हैं। पूर्व बलौदा बाजार वर्तमान में नवीन जिला सारंगढ़ - बिलाईगढ़ के नगर पंचायत व तहसील मुख्यालय भटगांव में शामिल हैं जिसके बाद भी शासकीय राजमहंत नयनदास महिलांग महाविद्यालय की सुव्यवस्था में कोई सुधार नहीं हो पाया हैं।
गत दिनों फरवरी 2023 में समीक्षा बैठक के दौरान चंद्रदेव प्रसाद राय विधायक बिलाईगढ़ एवं संसदीय सचिव छत्तीसगढ़ शासन शामिल हुए उन्होंने ने यहां की अव्यवस्था को देख नाराजगी जता प्राचार्य स्टॉफ को अव्यवस्था को महाविद्यालय की शिक्षा सत्र प्रारंभ होने से पूर्व सुधार करने के निर्देश दिए थे। जिसके 06 माह प्रगतिरत होते हुए भी शासकीय राजमहंत नयनदास महिलांग महाविद्यालय की जर्जर हालत में पड़े उधडे सीपेज दीवारों की मरम्मत रंग पेंटिंग साफ सफाई नहीं हो पाया हैं। इसके अलावा छात्र छात्राओं की अध्ययनरत कक्ष की खड़की दरवाजे कुर्सी टेबल टूटे हुए और दीवारों की जर्जर हालत पंखे विद्युतीकरण हाल में अस्वच्छता फैले पड़े हुए हैं जिसके जिम्मेदार कोई सुध नहीं ले रहे हैं। इसी के साथ यहां स्वतंत्रता दिवस मनाया जाना है।
महाविद्यालय के चारो ओर तार से घेरा किया गया हैं और मुख्य प्रवेश द्वार अव्यवस्था हालत में पड़े खुले असुरक्षा के दायरे में पड़ा हुआ हैं। जहां कोई भी बाहरी व्यक्ति और मवेशी आसानी से घुस कर अस्वच्छता फैला महाविद्यालय के बाहर खिड़की दरवाजे दीवारों हाल को नुकसान पहुंचा सकते हैं। तस्वीरें सच्चाई अव्यवस्था को बयां कर रहे हैं।
  "जानते हैं कि राजमहंत नयनदास महिलांग कौन हैं जिसके नामकरण में शासकीय महाविद्यालय भटगांव को किया गया हैं"
 नयनदास महिलांग छत्तीसगढ़ के गौ रक्षक  क्रांति के जनक माने जाते हैं। उनका जन्म 14 जनवरी 1881 को ग्राम सलौनी तत्कालीन जिला रायपुर वर्तमान बलौदा बाजार में पिता श्री राजा राम महिलांग, माता श्रीमती सुख बाई के यहां हुआ। उन्होंने प्राथमिक शाला तक शिक्षा प्राप्त किया था। पलटी विधान सभा क्षेत्र के विधायक रहते हुए सन 1959 में उनका स्वर्गवास हो गया। भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस बनने के बाद उन्होंने सन् 1888 में गौ रक्षण समिति बनाया जो आर्य समाज के संस्थापक स्वामी दयानंद सरस्वती के सुझाव पर देश भर में गौ रक्षक समिति गठित की गई। रायपुर के प्रथम सांसद गुरु अगम दास जी और ममतामयी मिनीमाता जी अविभाजित मध्यप्रदेश छत्तीसगढ़ की प्रथम महिला सांसद के सानिध्य आशीर्वाद पा कर स्वतंत्रता आंदोलन में अपना सक्रिय भागीदारी की शुभारंभ सन 1914 में गौ वध रोको आंदोलन का सूत्रपात कर तत्कालीन जिला रायपुर वर्तमान में जिला बलौदा बाजार के पास ग्राम करमनडीह और ढाबाडीह में अंग्रेजी के संरक्षण में संचालित बुचड़खाना को बंद करवाया। सन 1914 में पंडित मदन मोहन मालवीय ने कानपुर अधिवेशन के दौरान उनके राष्ट्रीय व सामाजिक कार्यों से प्रभावित होकर कांग्रेस समिति ने नयनदास महिलांग को गौ रक्षक सपूत की उपाधि दे कर सम्मानित किया गया। उन्हे महाकौशल प्रांतीय कांग्रेस कमेटी ने छत्तीसगढ़ अंचल के गौ रक्षक कमेटी का अध्यक्ष मनोनीत किया गया था। उन्होंने सन् 1930 - 31 के सविनय अवज्ञा आंदोलन में चल कर देश भक्त होने का प्रमाण दिया और अपने सहयोगियों के साथ बलौदा बाजार के गंजमंडी पास विदेशी वस्तुओं की होली जलाई जिस कारण उन्हे गिरफ्तार कर जेल भेजा गया। सन 1940 - 41 के व्यक्तिगत सत्याग्रह आंदोलन में सक्रिय भूमिका निभाई जिसमें उन्हे 06 माह कारावास का दण्ड दिया गया तथा भारत छोड़ो आंदोलन में अपने क्षेत्र में सत्याग्रहियों का नेतृत्व कर आगे बढ़े तभी 07 माह कारावास हुआ। छत्तीसगढ़ के गांधी साहित्यकार पंडित सुंदर लाल शर्मा से प्रेरणा लेकर सन 1907 में अखिल भारतीय कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण कर कांग्रेस की तब से राजनीति व उसके सभी गतिविधियों में सक्रियता व पूर्ण निष्ठा से भाग लेते हुए सन 1938 के आम चुनाव में कांग्रेस प्रत्याशी के रूप में विधान सभा क्षेत्र पलारी से निर्वाचित हुए। तब से पलारी के अजेय योद्धा के रूप में लगातार सन 1959 तक नव गठित मध्यप्रदेश विधान सभा का नेतृत्व  किया। रायपुर के बैजनाथ अमीन पारा में सतनामी आश्रम में गरीब छात्र छात्राओं की शिक्षा व्यवस्था करने छात्रावास संचालन कर शिक्षा के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य किए। पूरे छत्तीसगढ़ के सतनामी समाज के गांव घर जा पैदल चल कर अठगंवा ब्लाक कमेटी, जिला कमेटी,100 गंवा सामाजिक संगठन कर समाज सुधार कार्य किया। बिलाईगढ़ क्षेत्र के अग्रणीय समाज सेवक स्वतंत्रता सेनानी, अधिवक्ता, प्रथम अंतरिम संसद सदस्य रेशम लाल जांगड़े, मूलचंद जांगड़े पूर्व विधायक को भी नयनदास महिलांग ने आगे बढ़ाया उनके जीवन पर्यन्त साथ निभाया। राजमहंत नयनदास महिलांग गौ भक्त और देश भक्त, स्वतंत्रता संग्राम सेनानी और स्वतंत्र भारत के पलारी विधान सभा क्षेत्र के प्रथम विधायक अपने जीवन पर्यन्त रहें। जिनके नाम पर बलौदा बाजार बस स्टैंड के पास बलौदा बाजार जिला मुख्यालय पर नयनदास महिलांग स्मृति स्थल के नाम पर रखा गया हैं। इसी तरह शासकीय राजमहंत नयनदास महिलांग महाविद्यालय भटगांव का स्थापना किया गया हैं। जिन्हें शासन प्रशासन द्वारा संचालित योजनाओं तहत सुव्यवस्थित करने की अत्यंत आवश्यकता हैं ताकि महाविद्यालय जैसे सर्व सुविधायुक्त होने से छात्र छात्राओं को पूर्ण लाभ मिल सके।